SDM Power And Salary: राजा जैसी होती है एक SDM की जिंदगी, सरकार फ्री में देती है गाड़ी, बंगला- ड्राइवर समेत ये बड़ी सुविधाएं
SDM यानी सब डिविजनल मजिस्ट्रेट. एसडीएम का ओहदा भी कम नहीं होता. SDM बनने के बाद आपको सरकार की तरफ से तमाम बेहतरीन सुविधाएं उपलब्ध करवाई जाती है. एसडीएम में तहसील के तहसीलदार और डिस्ट्रिक्ट मैजिस्ट्रेट के बीच की कड़ी होता है. एसडीएम बनने के लिए किसी भी उम्मीदवार का ग्रेजुएट होना जरूरी है और उसे संबंधित राज्य द्वारा आयोजित की जा रही पीसीएस परीक्षा पास करनी होती है. पीसीएस परीक्षा में उम्मीदवार को तीन चरण पार करने होते हैं जिनमें प्रारंभिक परीक्षा, फाइनल परीक्षा और इंटरव्यू शामिल होते हैं. डीएम बनने के बाद सरकार की तरफ से सरकारी वाहन, सरकारी आवास, फ्री बिजली कनेक्शन इत्यादि कई तरह की सुविधाएं दी जाती है.
नई दिल्ली, SDM Power And Salary :- इन दिनों उत्तर प्रदेश की एसडीएम ज्योति मौर्या खूब चर्चा में है. चारों तरफ खबरें चल रही है कि उन्होंने नौकरी मिलते ही अपने पति को छोड़ दिया. Social Media पर ज्योति को जमकर ट्रोल किया जा रहा है और कहा जा रहा है कि पैसे और रुतबे के आगे प्यार हार गया इसीलिए उन्होंने अपने पति आलोक मौर्या को छोड़ दिया. ऐसे में आपके मन में भी सवाल आ रहा होगा कि आखिर एसडीएम की नौकरी में ऐसा क्या होता है कि लोग सब कुछ छोड़ने को तैयार रहते हैं. आइए आपको इस बारे में विस्तार पूर्वक बताते हैं.
SDM बनने के लिए देनी होती है पीसीएस की परीक्षा
सब डिविजनल मजिस्ट्रेट (SDM) किसी जिले के डीएम यानी डिस्ट्रिक्ट मजिस्ट्रेट के नीचे कार्यरत होता है. एसडीएम बनने के लिए राज्य स्तर की सिविल सेवा यानी PCS परीक्षा उत्तीर्ण करनी होती है. संबंधित राज्य के लोक सेवा आयोग की तरफ से इस परीक्षा का आयोजन किया जाता है. परीक्षा के लिए न्यूतनम योग्यता किसी भी विषय में Graduate होना है, तथा इस भर्ती प्रक्रिया में तीन चरण होते हैं. सबसे पहले चरणों में प्रारंभिक परीक्षा होती है इसके बाद मुख्य परीक्षा आयोजित की जाती है तथा सबसे अंत में इंटरव्यू होता है.
तहसीलदार और डीएम के बीच की कड़ी है एसडीएम
SDM के रुतबे के बारे में बात करें तो जिले में दूसरे नंबर का रुतबा एसडीएम का होता है. एसडीएम की पावर भी डीएम से कम नहीं होती. एसडीएम को असिस्टेंट मजिस्ट्रेट के नाम से भी जाना जाता है. SDM यह पद पर नियुक्त होने वाले उम्मीदवार को अनेक प्रकार की जिम्मेदारियां दी जाती है जिनमें गाडियों का Registration, राजस्व कार्य, चुनाव आधारित कार्य, विवाह पंजीकरण, Driving License का नवीनीकरण और जारी करना, शस्त्र लाइसेंस का नवीनीकरण और जारी करना आदि शामिल होते हैं. एसडीएम तहसील के तहसीलदार और जिले के डीएम के बीच की कड़ी है.
मिलती है यह बेहतरीन सुविधाएं
SDM के वेतन की बात करें तो उन्हें वेतनमान- 9300-34800 रुपये, ग्रेड पे- 5400 बेसिक सैलरी- 56100 रुपये मिलती है. एसडीएम को सैलरी के साथ कई प्रकार के भत्ते और सुविधाएं भी प्रदान की जाती है. जैसे सरकारी अवास, सिक्योरिटी गार्ड, माली और कुक जैसे House Help, एक सरकारी वाहन (सायरन के साथ), एक टेलिफोन कनेक्शन, Free बिजली कनेक्शन इत्यादि. एसडीएम को रिटायरमेंट के बाद पेंशन भी मिलती है. इसके अतिरिक्त यदि SDM किसी आधिकारिक यात्रा के लिए जाता है तो उसे उच्च श्रेणी का सरकारी आवास मुहैया करवाया जाता है.