Faridabad News: फूड वैन के बाद लॉकडाउन में खोला ढाबा पैसे न होने पर खुद किया काम, आज पूरा फरीदाबाद बना पराठे का मुरीद
फरीदाबाद :- कोरोना महामारी जैसे ही देश में फैली लोगों के काम धंधे सब चौपट हो गए. कोरोना काल में लोगों के लिए घर खर्च तक चलाना मुश्किल हो गया था. ऐसे में यह समय सभी के लिए काफी दुखदाई और कष्टदायी रहा. कुछ ऐसे लोग भी थे जो Corona के समय हाथ पर हाथ धरे बैठे रहे जबकि कुछ ऐसे व्यक्ति भी थे जो अपनी कला को निखारने में लगे हुए थे. आज सभी खाने पीने के शौकीन है. अगर खाना स्वादिष्ट हो तो लोग एक बार नहीं बार- बार खाने के लिए आते हैं.
पहले फूड वैन का करता था कार्य
फरीदाबाद के दीपक तेवतिया ने कोरोना महामारी के समय में अपने ढाबे की शुरुआत की थी. इससे करीब 6 वर्ष पहले दीपक Food वैन का कार्य करता था. उसका खाना इतना स्वादिष्ट होता था कि लोग बार बार खाने के लिए आते थे. दीपक ने बताया कि जवानी के दिनों में जहां नौजवान घूमने फिरने में ज्यादा दिलचस्पी रखते हैं, उस समय कुछ वह दिन रात मेहनत करके Food वैंन को चलाता था. परंतु कोरोना महामारी के समय में सरकार के आदेशानुसार उसे अपना काम बीच में रोकना पड़ा.
ढाबे को भी मिलता है ग्राहकों का उतना ही प्यार
दीपक ने बताया कि जब लोगों के बिजनेस बंद हो चुके थे तब उसने अपने ढाबे की शुरुआत की थी. लोग जितना प्यार मेरी Food वैन देते थे उतना ही प्यार ढाबे को भी दे रहे हैं. ढाबे की सबसे बड़ी खास बात यह है कि यहां पर 4 फीट का डोसा और 1.5 फीट का पराठा मिलता है जोकि खाने में काफी स्वादिष्ट होता है. 4 फीट का एक डोसा 300 रूपये में मिलता है, जिसे तीन- चार आदमी आराम से बैठकर भरपेट खा सकते हैं.
ग्राहकों के विश्वास को हमेशा रखेगा क़ायम
वहीं अगर दीपक के ढाबे में मिलने वाले 1.5 फिट के पराठे की बात करें तो एक पराठा 2 लोगों का पेट आराम से भर सकता है. इसके अलावा दीपक का कहना है कि पूरे 9 वर्षों तक दिन रात मेहनत करने के बाद यह मुकाम हासिल किया है. लोगों को ढाबे पर स्वादिष्ट खाना तो मिलता ही है साथ में इस ढाबे की डेकोरेशन से लेकर Menu तक लोगों को काफी पसंद आता है. ढाबे की डेकोरेशन से लेकर Menu तक का कार्य स्वयं दीपक ने ही किया है. उसने कहा कि वह अपने ग्राहकों का विश्वास बनाए रखने के लिए ऐसे ही मेहनत करता रहेगा.