राजस्थान चुनाव रिजल्ट के बाद संकट में जेजेपी की नैया, हरियाणा सत्ता से हो सकती है छुट्टी
चंडीगढ़ :- वर्ष 2019 में हुए चुनावो में हरियाणा में BJP और JJP की सरकार गठबंधन में सत्ता आई थी. अब फिर हरियाणा में वर्ष 2024 में लोकसभा और विधानसभा के चुनाव होने जा रहे हैं, इन चुनावो को लेकर राजनैतिक नेता पहले से ही तैयारी में जुट गए हैं. हाल ही में छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश, उत्तराखंड, राजस्थान और तेलंगाना सीटों पर विधानसभा चुनाव आयोजित करवाए गए है. राजस्थान में चुनाव में JJP को काफी कम बहुमत मिला हैं.
राजस्थान में मिला बहुत कम बहुमत
जानकारी के लिए बता दे कि राजस्थान में हुए चुनाव में JJP नें केवल 0.14 फीसदी बहुमत हासिल किया है. वहीं JJP को राजस्थान की भांति हरियाणा में भी हार का सामना करना पड़ सकता है. इसके अलावा वर्ष 1989 में राजस्थान के सीकर से चुनाव जीतकर चौधरी देवीलाल संसद पहुंचे थे और देश के पहले PM बने थे. वही 1990 में दुष्यंत चौटाला के पिता अजय चौटाला दातारामगढ़ सीट से और 1993 में हनुमानगढ़ की नोहर विधानसभा क्षेत्र से चौधरी देवीलाल विधायक चुने गए थे.
JJP का सपना टूटा
9 दिसंबर 2018 को हरियाणा के डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला ने JJP पार्टी की स्थापना की थी. वर्ष 2019 में हुए विधानसभा चुनाव में JJP ने कुल 10 सीटें जीती थी. JJP के गठबंधन से BJP सरकार सत्ता में आई थी. हाल ही में हुए राजस्थान के चुनाव में BJP नें साबित कर दिया कि भगवा दल आगे की सोच रहा है. JJP को उम्मीद थी कि जैसे वह हरियाणा में BJP के साथ गठबंधन में आई है राजस्थान में भी वह गठबंधन में आकर किंग मेकर बनकर उभरेगी.
13 जिलों में मिली जीत
राजस्थान में JJP के कुल 25 उम्मीदवार मैदान में उतरे थे जिसमें से 19 प्रत्याशी मैदान में बचे है जिन्हे केवल 57,019 वोट मिले. जोकि कुल वोटिंग का केवल 0.14 फीसदी है. जबकि Nota को 0.96% वोट मिले हैं. JJP नें 6 सीटों पर जीत का दावा किया था, लेकिन इन सभी सीटों पर उन्हें हार का सामना करना पड़ा. JJP के अध्यक्ष दुष्यंत चौटाला ने कहा कि भले ही उन्हें हार मिली है लेकिन राजस्थान में उन्हें 13 जिलों में जीत भी मिली है. जहां हमारा एक कार्यकर्ता या Booth एजेंट तक नहीं था वहां पर हम 60,000 वोट हासिल करने में सक्षम रहे.