Kaithal News: अब किन्नरों को नहीं मिलेगी मुहँ मांगी बधाई, सिर्फ 1100 रुपये देने का फरमान हुआ जारी
कैथल :- प्राचीन समय से ही मान्यता है कि किन्नरों द्वारा दी गई दुआ बद्दुआ अपना असर दिखा ही देती है. जिसके चलते लोगों को डर लगा रहता है कि कहीं किन्नर उन्हें बद्दुआ दे देदे और कहीं उनके साथ कुछ बुरा ना हो जाए. अक्सर देखने को मिलता है कि जब भी कभी खुशी का माहौल होता है या शादी- विवाह या Birth से संबंधित कोई Program होता है तो उस समय किन्नर उन घरो में जाकर मुँहमांगी बधाइयां मांगते हैं. वही लोग इनकी बद्दुआ के डर के कारण उन्हें बधाई के रूप में रुपए- पैसे, सोना- चांदी का कोई भी सामान दे देते हैं, लेकिन अबसे ऐसा नहीं होगा.
किन्नर मांगते हैं मुंहमांगी कीमत
कैथल जिले के 2 गांव प्योंदा और ग्योग की ग्राम पंचायत ने किन्नरों के मुंहमांगी बधाई पर पाबंदी लगा दी है. अब किन्नर खुशी के मौके पर मुंह मांगी कीमत नहीं ले सकते. खुशी के मौके पर किन्नरों को दी जाने वाली बधाई की राशि ग्राम पंचायत ने तय कर दी हैं इसके बावजूद भी यदि कोई किन्नर निर्धारित राशि से ज्यादा बधाई लेने के लिए लोगों को मजबूर करते हैं तो उन किन्नरों से जुर्माना वसूला जाएगा.
2 गांव की ग्राम पंचायतो ने मिलकर लिया फैसला
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार प्योदा और ग्योग दोनों गांव की एक साथ ग्राम पंचायत बिठाई गई जिसमें किन्नरों द्वारा मांगे जाने वाली मुंहमांगी बधाई पर रोक लगाई गई. अब किन्नर Son होने की खुशी में बधाई के रूप में केवल 1100 रूपये तक की राशि ही ले सकते हैं, इससे अधिक राशि वसूलने पर किन्नरों को 5000 रूपये तक का जुर्माना देना पड़ेगा. इसके बावजूद भी यदि किन्नर नहीं मानते हैं तो किन्नरो पर कानूनी कार्यवाही की जाएगी. किन्नरों को ख़ुशी के मौके पर Family वाले जो भी बधाई के रूप में देना चाहे उसे खुशी- खुशी स्वीकार करना चाहिए ना की हठ करके उन्हें तंग करना चाहिए.
ब्योत न होने के बावजूद भी देते हैं बधाई राशि
गांव पाडला के सरपंच रामभज ने जानकारी देते हुए बताया कि बहुत बार देखने को मिलता है कि किन्नर लोगों को ज्यादा बधाई देने के लिए मजबूर करते हैं. जिस कारण अधिक ब्योत ना होने के बाद भी किसी से उधार- सुधार लेकर किन्नरों को रुपए देते हैं. ग्राम पंचायत ग्योग और पाडला द्वारा किन्नर द्वारा मांगी गई बधाई की कीमत निश्चित कर दी गई है. अबसे किन्नरो को बच्चे के जन्म और विवाह जैसी खुशी के कार्यों में केवल 1100 रूपये का ही शगुन दिया जाएगा. ग्राम पंचायत द्वारा लिया गया यह फैसला काफी सराहनीय है.